प्रदीप भट्टाचार्य का जीवन परिचय (जीवनी) : Pradip Bhattacharya Biography in Hindi
Pradip Bhattacharya Biography in Hindi, Age, Wiki, Wife, Family, Election, Date of Birth, Wife, Family, Height, Career, Net Worth, Daughter, Children, Politics, Party, Quotes: प्रदीप भट्टाचार्य एक भारतीय राजनीतिज्ञ हैं जो भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (INC) से जुड़े हैं। उनका जन्म 24 जनवरी 1945 को बर्धमान, बंगाल प्रेसीडेंसी, ब्रिटिश भारत में हुआ था।
Pradip Bhattacharya Biography in Hindi, Age, Wiki, Wife, Family, Election, Date of Birth, Wife, Family, Height, Career, Net Worth, Daughter, Children, Politics, Party, Quotes: प्रदीप भट्टाचार्य एक भारतीय राजनीतिज्ञ हैं जो भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (INC) से जुड़े हैं। उनका जन्म 24 जनवरी 1945 को बर्धमान, बंगाल प्रेसीडेंसी, ब्रिटिश भारत में हुआ था। उन्होंने पश्चिम बंगाल के बर्दवान विश्वविद्यालय में सूरी विद्यासागर कॉलेज से एमए और बीए की पढ़ाई की थी।
राजनीतिक करियर:
राज्य सभा सदस्य (19 अगस्त 2011 - 18 अगस्त 2023):
- प्रदीप भट्टाचार्य पश्चिम बंगाल राज्य से राज्य सभा के सदस्य थे।
- इस पद पर उन्होंने नागेन्द्र राय को सफल किया।
पश्चिम बंगाल प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष (17 जनवरी 2011 - 10 फरवरी 2014):
- इस पद पर उन्होंने मानस रंजन भूनिया को सफल किया।
- उनके बाद अधीर रंजन चौधरी ने यह पद संभाला।
संसद सदस्य, लोकसभा (1996-1998):
- उन्होंने श्रीरामपुर चुनाव क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया।
- इस पद पर उन्होंने प्रोफेसर सुदर्शन रॉय चौधरी को सफल किया और उनके बाद अकबर अली खांडोकर ने यह पद संभाला।
श्रम राज्य मंत्री, पश्चिम बंगाल सरकार (2 अप्रैल 1972 - 21 जून 1977):
- इस दौरान उन्होंने श्रम राज्य मंत्री के रूप में कार्य किया।
- इस पद पर उन्हें बिनोय कृष्णा चौधरी ने सफल किया।
विधायक (1972-1977):
- उन्होंने बर्धमान दक्षिण चुनाव क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया।
- इस पद पर उन्होंने बिनोय कृष्णा चौधरी को सफल किया और उनके बाद कौस्तव रॉय ने यह पद संभाला।
व्यक्तिगत जीवन:
- जन्म: 24 जनवरी 1945
- निवास स्थान: बालीगंज
- शिक्षा: बर्दवान विश्वविद्यालय (एमए), सूरी विद्यासागर कॉलेज
- पेशा: राजनीतिज्ञ, सामाजिक कार्यकर्ता, लेखक
प्रदीप भट्टाचार्य का राजनीति में लंबा अनुभव और योगदान रहा है। उन्होंने विभिन्न महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया और पश्चिम बंगाल की राजनीति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।