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पेमा खांडू का जीवन परिचय (जीवनी) : Pema Khandu Biography in Hindi

पेमा खांडू का जीवन परिचय (जीवनी) : Pema Khandu Biography in Hindi
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By Ragib Asim

Pema Khandu Biography in Hindi, Age, Wiki, Wife, Family, Election, Date of Birth, Wife, Family, Height, Career, Net Worth, Daughter, Children, Politics, Party, Quotes: पेमा खांडू का जन्म 21 अगस्त 1979 को तवांग, अरुणाचल प्रदेश में हुआ। वे पूर्व मुख्यमंत्री दोरजी खांडू के सबसे बड़े पुत्र हैं। पेमा खांडू ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा तवांग के बोम्बा में सरकारी माध्यमिक विद्यालय से प्राप्त की, जहाँ उन्होंने 1995 में अपनी स्कूली शिक्षा पूरी की। इसके बाद, उन्होंने इटानगर के डोनी-पोलो विद्या भवन में अपनी उच्चतर माध्यमिक शिक्षा प्राप्त की और 1997 में इसे पूरा किया।

उनकी शैक्षिक यात्रा ने एक महत्वपूर्ण मोड़ तब लिया जब उन्होंने दिल्ली विश्वविद्यालय के हिंदू कॉलेज में इतिहास में कला स्नातक (ऑनर्स) करने के लिए दाखिला लिया। 2000 में, उन्होंने सफलतापूर्वक स्नातक की उपाधि प्राप्त की, जो उनकी औपचारिक शिक्षा की पूर्णता का प्रतीक थी।

व्यक्तिगत जीवन

पेमा खांडू मोनपा जनजाति से हैं, जो मुख्य रूप से भारत के अरुणाचल प्रदेश के तवांग जिले में रहने वाला एक स्वदेशी समुदाय है। मोनपा अपनी समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के लिए जाने जाते हैं, जिसमें जीवंत त्यौहार, पारंपरिक नृत्य रूप और अद्वितीय अनुष्ठान शामिल हैं। पेमा खांडू धर्म से बौद्ध हैं। उनके दो बेटे और दो बेटियाँ हैं।

राजनीतिक करियर की शुरुआत

अपने पिता की मृत्यु के बाद, पेमा खांडू ने राजनीति में कदम रखा और 30 जून 2011 को भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के उम्मीदवार के रूप में अपने पिता के निर्वाचन क्षेत्र मुक्तो के लिए निर्विरोध उपचुनाव जीता। उन्होंने जल संसाधन विकास और पर्यटन मंत्री के रूप में राज्य सरकार में सेवा की। 2014 के विधानसभा चुनाव में भी वे मुक्तो से निर्विरोध पुनः निर्वाचित हुए।

मुख्यमंत्री के रूप में योगदान

मुख्यमंत्री पद ग्रहण करना

पेमा खांडू ने 17 जुलाई 2016 को अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली। उन्होंने राज्य के विकास के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए और प्रशासनिक परिदृश्य में समावेशी और पारदर्शी शासन को बढ़ावा दिया।

भारतीय जनता पार्टी में हुए शामिल

मुख्यमंत्री बनने के बाद, पेमा खांडू और उनकी सरकार ने दो बार अपनी पार्टी की संबद्धता बदली। उन्होंने पहले भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस से पीपुल्स पार्टी ऑफ़ अरुणाचल में और फिर दिसंबर 2016 में भारतीय जनता पार्टी में शामिल हुए। इस दौरान उन्होंने सदन में बहुमत साबित किया और भाजपा के समर्थन से अपनी सरकार को मजबूत किया।

प्रमुख उपलब्धियाँ

अरुणाचल राइजिंग अभियान

2018 में, अरुणाचल प्रदेश सरकार ने "अरुणाचल राइजिंग अभियान" शुरू किया, जिसका उद्देश्य जमीनी स्तर पर प्रमुख राज्य और केंद्रीय प्रमुख कार्यक्रमों को उजागर करना था। इस अभियान के तहत, मुख्यमंत्री ने हर जिले का दौरा किया और जन संपर्क यात्रा के दौरान बड़े पैमाने पर सार्वजनिक रैलियों को संबोधित किया।

सरकार आपके द्वार

2018 में शुरू की गई 'सरकार आपके द्वार' पहल के तहत, प्रत्येक जिले में मासिक जन-सुनवाई शिविर लगाए जाते हैं, जहाँ लोगों की शिकायतों का मौके पर ही समाधान किया जाता है। इस पहल का उद्देश्य सरकारी सेवाओं को सुव्यवस्थित करना और नागरिकों को परेशानी मुक्त पहुँच प्रदान करना है।

हमारा अरुणाचल अभियान

महात्मा गांधी की 150वीं जयंती पर 2 अक्टूबर, 2019 को शुरू किया गया 'हमारा अरुणाचल अभियान' अरुणाचल प्रदेश सरकार द्वारा शुरू किया गया एक व्यापक जन अभियान है। इसका उद्देश्य पुलिस-पब्लिक भागीदारी को मजबूत करना और कानून और व्यवस्था बनाए रखने में समाज के सभी वर्गों को शामिल करना है।

मुख्यमंत्री आरोग्य अरुणाचल योजना

2018 में शुरू की गई मुख्यमंत्री आरोग्य अरुणाचल योजना का उद्देश्य आर्थिक रूप से वंचित आदिवासी समुदायों को स्वास्थ्य सेवा प्रदान करना है। यह योजना प्रति परिवार 5 लाख रुपये तक की कैशलेस सेवाएँ प्रदान करती है और मई 2022 तक इसने लगभग 1,14,193 परिवारों और 4,91,458 व्यक्तियों को लाभान्वित किया है।

बुनियादी ढांचे का विकास

सड़क और राजमार्ग निर्माण

पेमा खांडू के नेतृत्व में, अरुणाचल प्रदेश ने बुनियादी ढांचे के क्षेत्र में महत्वपूर्ण प्रगति की है। राज्य में अब कुल 50,555 किलोमीटर सड़कें हैं, जो 2016 में 30,692 किलोमीटर से 64% की वृद्धि दर्शाती है। सड़क निर्माण की गति 9 गुना बढ़ गई है, औसतन लगभग 2,838 किमी प्रति वर्ष। राष्ट्रीय राजमार्गों का विस्तार भी 2,482 किलोमीटर तक हुआ है, जो कुल लंबाई में 138% की वृद्धि है।

चुनौतियाँ

अरुणाचल प्रदेश की भौगोलिक स्थिति राज्य के विकास में एक प्रमुख चुनौती है। पहाड़ी इलाकों और दुर्गम क्षेत्रों के कारण बुनियादी ढांचे का विकास करना कठिन होता है। पेमा खांडू ने इन चुनौतियों का सामना करते हुए सड़क निर्माण और अन्य बुनियादी ढांचा परियोजनाओं को प्राथमिकता दी और राज्य के दुर्गम क्षेत्रों में भी विकास की किरण पहुँचाई।

सीमावर्ती विवाद

अरुणाचल प्रदेश का चीन के साथ सीमावर्ती विवाद एक और महत्वपूर्ण चुनौती है। पेमा खांडू ने राज्य की सुरक्षा और संप्रभुता को बनाए रखने के लिए केंद्र सरकार के साथ मिलकर काम किया और सीमावर्ती क्षेत्रों में सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत किया।

पेमा खांडू की जीवनी उनकी निष्ठा, मेहनत और नेतृत्व क्षमता का प्रतीक है। उनके नेतृत्व में, अरुणाचल प्रदेश ने विकास के नए आयाम छुए हैं और राज्य की जनता के जीवन स्तर में सुधार हुआ है। उनका जीवन और करियर एक प्रेरणा है, और उनके योगदान को हमेशा याद रखा जाएगा। पेमा खांडू का राजनीतिक सफर अभी भी जारी है, और उनके नेतृत्व में अरुणाचल प्रदेश का भविष्य और भी उज्जवल दिखता है।

Ragib Asim

Ragib Asim पिछले 8 वर्षों से अधिक समय से मीडिया इंडस्ट्री में एक्टिव हैं। मूल रूप से बिहार के रहने वाले हैं, पढ़ाई-लिखाई दिल्ली से हुई है। क्राइम, पॉलिटिक्स और मनोरंजन रिपोर्टिंग के साथ ही नेशनल डेस्क पर भी काम करने का अनुभव है।

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