छत्तीसगढ़ के इस स्थान पर साढ़े नौ एकड़ में क्षेत्र में सरकार बनवा रही है विशाल ‘श्रीयंत्र’, जानिए... कैसा है उसका आकर्षण और कैसे पहुंच सकते हैं आप
इस भव्य श्रीयंत्र का निर्माण छत्तीसगढ़ में मां बम्लेश्वरी की नगरी डोंगरगढ़ में चल रहा है। केंद्र की प्रसाद योजना के तहत वहां पर्यटन सुविधाओं का विकास किया जा रहा है। इसका काम जल्द ही पूरा होने की उम्मीद की जा रही है।
रायपुर। छत्तीसगढ़ में लगभग साढ़े नौ एकड़ में एक भव्य श्रीयंत्र (Shriyantra) का निर्माण चल रहा है। इस विशाल श्रीयंत्र का निर्माण 2021 में शुरु हुआ था और काम अंतिम चरण में है। निर्माण पूरा होते ही इसे आम लोगों के लिए खोल दिया जाएगा।
जानिए कहां बन रहा है यह विशाल श्रीयंत्र
इस विशाल श्रीयंत्र का निर्माण मां बम्लेश्वरी की नगरी डोंगरगढ़ में चल रहा है। इस श्रीयंत्र का क्षेत्रफल लगभग साढ़े नौ एकड़ है। यह काम केंद्र सरकार की प्रसाद योजना (PRASAD) तीर्थयात्रा कायाकल्प और अध्यात्म प्रचार अभियान (Pilgrimage Rejuvenation and Spiritual Augmentation Drive) के तहत चल रहा है। योजना के तहत मां बम्लेवरी देवी पहाड़ी के साथ ही प्रज्ञा गिरी पहाड़ी पर पर्यटन सुविधा का विकास किया जा रह है। इन विकास कार्यों पर लगभग 43 करोड़ रुपये से ज्यादा खर्च होने का अनुमान है।
जानिए क्या खास होगा विशाल श्रीयंत्र में
डोंगरगढ़ में श्रीयंत्र के आकार में निर्मित होने वाला भवन पूरी परियोजना का विशेष आकर्षण होगा। पिलग्रिम फैसिलिटेशन सेंटर (Pilgrim Facilitation Center) यानी तीर्थ यात्री सुविधा केंद्र में ध्यान केंद्र, विश्राम कक्ष, प्रसाद कक्ष, सांस्कृतिक मंच, क्लॉक रूम, सत्संग कक्ष, प्रदर्शनी गैलरी, टॉयलेट, पेयजल, लैंडस्कैपिंग, सोलर लाईट और पार्किंग स्थल आदि बनाए जा रहे हैं। इसके साथ ही मां बम्लेश्वरी देवी मंदिर की पहाड़ी पर सीढ़ियों का जीर्णोद्धार, रेलिंग, शेड, पेयजल सुविधा, पगोड़ा, सोलर लाईट, पार्किंग, सीसीटीवी, तालाब का सौंदर्यीकरण, बायो-टॉयलेट, मेडिकल रूम और साइनेज स्थापित किए जाएंगे। प्रज्ञा गिरी पहाड़ी पर भी ध्यान केंद्र, कैफिटेरिया, पार्किंग, सीढ़ियों का जीर्णोद्धार, सोलर लाईट, पेयजल और साइनेज की सुविधा प्रदान की जाएगी।
जैन धर्मावलंबियों के लिए आस्था का केंद्र है प्रज्ञा गिरी
प्रज्ञा गिरी पहाड़ जैन धर्म की आस्था का बड़ा केंद्र है। वहां लाल और पीले पत्थरों से भव्य जैन मंदिर का निर्माण चल रहा है। मंदिर की गुंबद और गर्भगृह में लकड़ी से कलाकृति बनाई जा रही है। वहीं, गर्भ ग़ह में यहां भगवान चंद्रप्रभु की 21 फीट ऊंची पद्मासन मुद्रा में प्रतिमा स्थापित की गई है।
जानिए क्या है केंद्र सरकार की प्रसाद योजना
देश के विभिन्न धार्मिक केंद्रों के विकास के लिए केंद्र सरकार ने प्रसाद योजना शुरू की है। केंद्रीय पर्यटन मंत्रालय ने 2014-15 में यह योजना शुरू की थी। इसी योजना के तहत 2021 में डोंगरगढ़ को भी शामिल किया गया।