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बड़ी खबर: 60 साल पुराने छत्तीसगढ़ के गेवरा स्टेशन में 8 माह से कोई भी यात्री ट्रेन नहीं

बड़ी खबर: 60 साल पुराने छत्तीसगढ़ के गेवरा स्टेशन में 8 माह से कोई भी यात्री ट्रेन नहीं
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By NPG News

कोरबा। आपको जानकर हैरानी होगी कि छत्तीसगढ़ के 60 साल पुराने रेलवे स्टेशन गेवरा से आठ महीने में एक भी ट्रेन नहीं चली है। जबकि, पहले रोज 12 ट्रेनें गेवरा से चलती थी।

लोकसभा क्षेत्र की सांसद श्रीमती ज्योत्सना चरणदास महंत ने प्रवास के दौरान कोरबा रेलवे स्टेशन का औचक निरीक्षण किया। उन्होंने यहां व्याप्त असुविधाओं और अव्यवस्थाओं पर नाराजगी जाहिर करते हुए रेलवे प्रबंधन के क्रियाकलापों पर सवाल उठाएं। सांसद ने 60 साल पुराने गेवरा रोड स्टेशन को बंद करने की तैयारी का विरोध करने की बात कही।

सांसद श्रीमती ज्योत्सना चरणदास महंत ने यात्री ट्रेनों के लगातार कैंसल होने, लेट-लतीफी व गेवरा रोड रेलवे स्टेशन में 8 माह से बंद पड़ी यात्री ट्रेन, कोरबा स्टेशन में बंद पड़ी टिकट वेंडर मशीन, लिफ्ट की हालत, साफ-सफाई सहित अन्य अव्यवस्थाओं को लेकर सांसद ने गहरी नाराजगी व्यक्त की। सांसद ज्योत्सना महंत ने पूरे स्टेशन परिसर का निरीक्षण किया और जल्द से जल्द सुधार करने के निर्देश रेलवे के अधिकारियों को दिए। सांसद ने इस दौरान कहा कि यात्री ट्रेनों को कैंसल करने व लेट-लतीफी से आम जनता परेशान है। केन्द्र की मोदी सरकार सब कुछ बेच रही है या फिर बंद कर रही है। ज्ञात हुआ है कि गेवरा रोड स्टेशन से पिछले 8 महिने से एक भी यात्री ट्रेन नहीं चलाई जा रही है जबकि कुल 12 यात्री ट्रेनों का संचालन गेवरा रोड से होता रहा है। वर्ष 1963 से प्रारंभ हुए गेवरा रोड स्टेशन को बंद करने की तैयारी हो रही है और अगर ऐसा कुछ है तो इसका पुरजोर विरोध किया जाएगा। गेवरा स्टेशन के अस्तित्व को खत्म करने का प्रयास सफल नहीं होने देंगे। सांसद ने कहा कि कोरबा स्टेशन में सेकण्ड एंट्री गेट बंद है। यहां की यात्री सुविधाओं को जनता भली-भांति जान और समझ रही हैं। वाहनों की पार्किंग तक को रेलवे प्रबंधन चालू नहीं करा पा रहा है। देश की आन-बान और शान का प्रतीक तिरंगा ध्वज को भी रेलवे प्रबंधन संभाल नहीं पा रहा है। यहां वेटिंग हॉल, वॉश रूम, शीतल जल, एटीव्हीएम मशीन बदहाल है। सांसद ने कहा कि रेलवे सिर्फ अपने कोयला लदान पर ज्यादा ध्यान दे रहा है जिसकी वजह से जनता को यात्री सुविधाएं सुचारू रूप से नहीं दी जा रही है। रेलवे प्रबंधन का यह रवैय्या कतई उचित नहीं है। पहले भी क्षेत्र की जनता रेल सुविधाओं के लिए संघर्ष करती आई है जिसे रेल प्रशासन नजर अंदाज कर रहा है। यदि जल्द ही व्यवस्थाओं में सुधार नहीं हुआ और गेवरा स्टेशन से सभी यात्री ट्रेनों का पुन: संचालन प्रारंभ नहीं किया गया तो जनता का आक्रोश फूट सकता है जिसके लिए रेलवे प्रबंधन ही जिम्मेदार होगा। इस दौरान सांसद के साथ सांसद प्रतिनिधि हरीश परसाई, कांग्रेस नेत्री उषा तिवारी सहित अन्य कांग्रेस नेता मौजूद रहे।

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